जाने इस मुख्यमंत्री के जबान से ऐसी क्या गलत बात बोली गई जोकि माफी तलब करनी पड़ी?

गया
संवाददाता

बिहार शरीफ के सीएम जनाब नीतीश कुमार को माफ़ी नहीं माँगनी चाहिए थी।. उन्हें अपना पक्ष रखना चाहिए था कि परि

वार नियोजन में महिलाओं की भूमिका लेकर विधानसभा तथा विधान परिषद में उन्होंने कुछ भी ग़लत नहीं बोला. बेहतर होता कि मुख्यमंत्री कल की “ठेठ और सरल बात” को आज “वैज्ञानिक और क्लिष्ट” भाषा के ज़रिए बताते।

गौर तलब हो कि जो मुख्यमंत्री कल तक “सेक्स एजुकेशन” के बारे में सदन के अंदर मज़बूती से बोल रहा था, समाज के दबाव में आकर अपनी ही बात के लिए सार्वजनिक रूप से माफ़ी माँग रहा है क्योंकि उसे डर लगने लगा है कि ऐसी बात करने से समाज उसे ग़लत समझ लेगा।

मुख्यमंत्री की माफ़ी सेक्स एजुकेशन एंड अवेयरनेस” के प्रति हमारे समाज की असल सच्चाई बयान कर रहा है। सनद रहे कि ये वही समाज है जो चित्रों, मूर्तियों, मंदिरों और किताबों में सेक्स को स्वीकार कर चुका है और आज के डिजिटल दौर में इंटरनेट पर सबसे अधिक सेक्सुअल कंटेंट सर्च करता है। लेकिन वही समाज सार्वजनिक रूप से सेक्स पर बात करने से आहत हो जाता है!

संवाद :एडमिन जी

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