अब आगरा में भी चलेगी मेट्रो ट्रेन , यहां बनेगा कॉरीडोर !

रिपोर्टर.
आगरा में मेट्रो योजना को कैबिनेट की स्वीकृति मिलने के बाद सबसे पहला और अहम काम है जमीन की उपलब्ध कराना। तय एलाइनमेंट के मुताबिक इस बात का सर्वे का होगा कि मेट्रो योजना के लिए जहां-जहां जमीन लेनी है, उसका स्वामित्व किसका है और इसका कितना मुआवजा देना होगा।
सरकारी जमीनों को अधिग्रहण करने के लिए मुआवजा देना होगा या सरकारी व्यवस्था के अनुरूप जमीन उपलब्ध कराई जाएगी। अधिकारियों की मानें तो मेट्रो योजना में इस बात का विशेष ख्याल रखा जाएगा कि कम से कम निजी जमीन ली जाए। जिससे नागरिकों को उजाड़ना न पड़े, कैबिनेट की मंजूरी के बाद अब मेट्रो का प्रस्ताव भारत सरकार को जाएगा। वहां से स्वीकृति मिलने के बाद योजना मेट्रो रेल कारपोरेशन के हवाले कर दी जाएगी।
मेट्रो रेल कारपोरेशन को भारत सरकार और प्रदेश सरकार से वित्तीय मदद मिलेगी। के साथ ही लोन की व्यवस्था भी सरकार द्वारा कराई जाएगी।
सबसे मेट्रो रेल कारपोरेशन प्रस्तावित एलाइनमेंट का परीक्षण करेगी और उसके बाद कहां स्टेशन बनाया जाएगा। कितनी मेट्रो एलीवेटिड होगी और कितनी मेट्रो लाइन अंडरग्राउंड डाली जाएगी। लाइन डालने में के दौरान क्या व्यवस्था करनी होगी इसका परीक्षण करना होगा। अधिकारियों के मुताबिक शहर में 14 और 16 किलोमीटर लंबे दो कारीडोर प्रस्तावित हैं।
दोनों में 15-15 स्टेशनों का निर्माण किया जाएगा। छह स्टेशन अंडरग्राउंड होगा और शेष 24 स्टेशन एलीवेटिड होंगे। दो कॉरीडोर बनेगा योजना के लिए दो डिपो (यार्ड) बनाए जाएंगे।
पहले कारीडोर के लिए पीएसी मैदान में यार्ड बनेगा और दूसरे कारीडोर का यार्ड झरना नाले के पास बनाया जाएगा।