पंचायत सचिव ने खोया आपा कैसे किया गया फर्जीवाड़ा?
छिंदवाड़ा
संवाददाता मनोज डोंगरे
पंचायत सचिव संघ ने खोया आपा,फर्जी आकड़े की सौपी सूची शासन के पोर्टल पर 2 शिकायत,संघ की फर्जी सूची में 43 दर्ज।
छिंदवाड़ा:-ग्राम पंचायतों में बिना मकान निर्माण के किस्त डालना,कही हितग्राहियो से पैंसे लेकर स्वयं खर्च करना,बिना समाचार पत्रो में निविदा निकाले अपने चहेते से मटेरियल सपलायर खरीदना,बिना जीएसटी बिल,ठेकेदारी के माध्यम से काम करवाना के मामले मीडिया द्वारा लगातार आवाज उठाने पर सबंधित सचिव व रोजगार सहायकों पर जनपद व जिले के अधिकारी भी ताबड़तोड़ कार्यवाही कर रहे है.इधर सीएम हेलपलाइन में भी शिकायत दर्ज करने के मामले आये है।
इस तरह अधिकारी की कार्यवाही व सीएम हेल्पलाइन में इनकी शिकायत आने से परेशान पंचायत सचिव संघ द्वारा विगत दिनो कलेक्टर कार्यालय में अधिकारी व सीएम हेलपलाइन में शिकायत दर्ज करने वालो के खिलाफ ज्ञापन सौपा गया.बता दे इस आंदोलन में सीएम हेलपलाइन में शिकायत दर्ज करने वालो पर अपनी जमकर भड़ास निकाली गई,
वही दूसरी उधर अपने जनपद व जिले में बैंठे अधिकारियों
शासन-प्रशासन को अशलील-बेहुदी बाते कहने से भी से कुछ लोग नही छूटे।
पंचायत सचिव संघ ने खोया आपा,की फर्जी सूची तैयार
पंचायत सचिव संघ अधिकारियो की कार्यवाही व सीएम हेल्पलाइन शिकायत से घबराकर वह खूद अपना आपा खो गये.जिनकी बमुश्किल दो शिकायत दर्ज है।
उसे अपनी सूची में 43 शिकायत बताई गई.उक्त संघ के पदाधिकारी द्वारा जब फर्जी सूची तैयार कर सकते है तो वह पंचायत में किस तरह मनमानी करते है।
उदाहरण के तौर पर पांढुर्णा जनपद पंचायत की ग्राम पंचायत पलाशपानी पंचायत में सचिव द्वारा फोटोकॉपी बिल खिड़की-दरवाजे के मरम्मत का भुगतान कर दिया गया.ऐसे कई उदाहरण है।
फर्जी सूची का जिलाध्यक्ष अपने ब्लाक के पदाधिकारियों पर फोड रहे ठीकरा।
पंचायत संघ द्वारा सीएम हेल्पलाइन हुई शिकायत को लेकर जो सूची कलेक्टर को सौपी गई.उस सूची में कई फर्जी आकड़े सामने आये।
जिन्होंने उस ऐसी कई जनपदो की पंचायतो में कोई भी शिकायत नही की फिर संघ की सूची में हर जनपद में अपने फर्जी आकड़े बताया गया ।
वही 2 शिकायत को 43 शिकायत बताई गई. जब इस बारे कुछ जनपदो के सीईओ और पंचायत इंसपेक्टर व सचिव संघ के पदाधिकारियों से चर्चा की तो उन्होंने बताया कि हमारे यहा शिकायत दर्ज नही है!
जिले वालो ने कहा से यह फर्ज सूची में निकाली वह ही इस बारे में बता पायेंगे.इधर पंचायत सचिव संघ के जिलाध्यक्ष प्रहलाद उसरेठे से चर्चा की तो उन्होंने भी बताया कि मुझे यह हमारे संघ के ब्लाक के पदाधिकारियों ने इन नामो को फोल्डर दिया गया।
वही उधर मोहखेड के दयाराम कोड़ले का कहना कि हमारे द्वारा कोई भी सूची नही दी गई.पता नही कहा से तैयार की गई वह सूची.उधर सौंसर के कमलाकर बोबड़े का कहना कि हमें भी इस बारे में कोई जानकारी नही है।
इसके अलावा परासिया, तामिया,अमरवाड़ा,हर्रई सहित अन्य जनपदो में कोई भी शिकायत दर्ज नही फिर भी फर्जी आकड़े दर्ज किए गए.इस तरह फर्जी आकड़े की सूची जारी किए जाने पर सबंधित जिलाध्यक्ष प्रहलाद उसरेठे से चर्चा कि तो वह इस फर्जी आकड़े की सूची का ठीकरा अपने ही ब्लाक के पदाधिकारियों पर फोड़ रहे है।
गलत नही तो क्यों दिए जा असमाजिक तत्वों को शिकायत कटवाने के पैसे।
जब सबंधित शिकायतकर्ताओ द्वारा सीएम हेल्पलाइन में शिकायत की है तो उसका जवाब प्रस्तुत करे.।
क्यों वह अपनी शिकायत कटवाने के नाम पर पैसे दे रहे है।.पैसा देना यानि जिम्मेदार पंचायत सचिव कही ना कही गलत है।
इसलिए वह शिकायत कटवाने के नाम पर उक्त व्यक्ति को पैसे दे रहा है।
अगर किसी ने पंचायत की शिकायत की है और आपके द्वारा सही जवाब देने के बाद भी वह वापस नही ले रहा है तो वह इसकी शिकायत जिले के वरिष्ठ अधिकारियों करे।