सबसे बड़ा घोटाले का पर्दाफाश,प्रधानमंत्री आवास योजना में करोड़ों रुपए का फर्जी भुगतान, जानिए पूरा खुलासा
एमपी
संवाददाता
मध्य प्रदेश में सबसे बड़ा घोटाला, नगर पालिका परिषद छतरपुर में हुआ उजागर: प्रधानमंत्री आवास योजना में करोड़ों रुपए का फर्जी भुगतान.
*प्रमुख सचिव व आयुक्त नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग मध्य प्रदेश शासन भोपाल ने सीएमओ पर एफआईआर दर्ज करने के दिए निर्देश, कई उपयंत्री व सीएमओ जा सकते जेल
मध्य प्रदेश में भाजपा की शिवराज सरकार में लगातार एक से एक बड़े बड़े घोटाले निकलकर सामने आ रहे है।
घोटालों का दाग लगने के कारण आने वाले विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी को बेहद मुश्किल हालातो का सामना करना पड़ रहा है । मध्य प्रदेश के कई अलग अलग जिलों में करोड़ों रुपए के घोटाले अभी तक उजागर हो चुके हैं।
इस बारे में ऐसे बताया जाता है कि सागर संभाग में अभी तक का सबसे बड़ा घोटाला छतरपुर जिले से नगर पालिका परिषद छतरपुर में निकलकर सामने आया है । कई उच्च स्तरीय जांचों में पाया गया है कि नगर पालिका परिषद छतरपुर में कई सैकड़ा आवास के नाम पर करोड़ों रुपए का फर्जी भुगतान किया गया है।
प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत हितग्राहियों के नाम पर अधिकारियों ने राशि निकाल ली, जब इसकी जांच हुई तो अधिकारियों को मौके पर ना तो कोई भवन बना मिला और ना ही किसी भी प्रकार का निर्माण कार्य मिल रहा है। आखिर इतनी बड़ी संख्या में प्रधानमंत्री आवास कहां चोरी हो गए ?
जबकि करोड़ों रुपए के फर्जी भुगतान की शिकायत छतरपुर विधानसभा क्षेत्र के विधायक आलोक चतुर्वेदी के द्वारा की गई थी, मध्य प्रदेश शासन ने शिकायतों पर संज्ञान लेकर उच्च स्तरीय जांच कमेटी गठित की और जांच कमेटी ने पाया कि नगर पालिका परिषद छतरपुर के अंतर्गत कई सैकड़ा प्रधानमंत्री आवास बनाए गए ।यहां ना तो जमीन पर मिल रहे हैं व उनके नाम पर भुगतान कर लिया गया। बहुतसा भुगतान अधिकारियों के द्वारा निकाल लिया गया, जिस कारण सरकार को करोड़ों रुपए का नुकसान हुआ है।
जांच कमेटी ने अपनी रिपोर्ट नगरीय प्रशासन व विकास विभाग मध्य प्रदेश शासन भोपाल को भेजी है। प्रमुख सचिव व आयुक्त के द्वारा आदेश जारी किए गए कि सीएमओ और संबंधित उपयंत्री जिन्होंने डीपीआर तैयार की, उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज करें एवं उनसे शासन की राशि की वसूली की जाएगी। उक्त घोटाले के जिम्मेदार कौन?बड़ा सवाल।
संवाद;पंकज पाराशर छतरपुर