बेमिसाल बागपत का प्रतीक बनेगी माहिलाए: डीडीएम नाबार्ड

दस दिवसीय आजीविका एवं उद्यम विकास प्रशिक्षण का समापन, प्रमाण पत्र किए वितरित

बागपत। नाबार्ड और आयुर्वेट रिसर्च फाउंडेशन के तत्वाधान में गांव ट्योढी के पंचायत घर में संचालित 10 दिवसीय आजीविका एवं उद्यम विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम का बुधवार को समापन किया गया जिसमें नाबार्ड के जिला विकास प्रबंधक शोमीर पुरी ने प्रशिक्षुओं से फीडबैक लिया और परीक्षा के उपरांत प्रमाण पत्र से सम्मानित किया।

कहा कि अब महिलाएं घर के चूल्हे तक ही सीमित नहीं रहेगी बल्कि और डेयरी टेक्नोलॉजी के माध्यम से स्वावलंबन की मिसाल बन बेमिसाल बागपत का प्रतीक बनेगी। बैंक विभाग से अग्रणी जिला प्रबंधक राजेश पंत ने कहा कि इच्छुक प्रशिक्षुओं को स्वयं का रोजगार स्थापित करने हेतु बैंकों के माध्यम से ऋण उपलब्ध कराएंगे। आर सेटी के निदेशक शशि कुमार यादव ने कहा कि सफल उद्यमी बनने के लिए अपनी तरफ से ईमानदारी के साथ कड़ी मेहनत और लगन भी आवश्यक है।

आयुर्वेट रिसर्च फाउंडेशन से कृष्ण गोपाल ने कहा कि महिलाओं को स्वयं का व्यवसाय शुरू करने हेतु हरसंभव स्तर पर मदद मुहैया कराकर जनपद में डेयरी टेक्नोलॉजी से आत्मनिर्भर बनने का एक मॉडल स्थापित करेंगे।
बता दे कि नाबार्ड के आजीविका एवं उद्यम विकास प्रशिक्षण में स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी महिलाओं को चयनित कर उनको विभिन्न विशेषज्ञों द्वारा प्रशिक्षण प्रदान किया गया। जिसके माध्यम से अब दुग्ध मूल्य संवर्धन और प्रसंस्करण के माध्यम से ग्रामीण क्षेत्र की महिलाएं स्वावलंबन बनने की राह में अग्रसर होंगी। इस अवसर पर आरती, सुनीता, अनीता, पूजा, अंजू आदि महिलाएं मौजूद रही।

संवाद:अमन कुमार

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