वो कौनसे खास सुराग है, जिसके दम पर CBI ने पकड़े आईजी समेत 8 पुलिस अफसर ?जाने !

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रिपोर्टर.

अचानक गुड़िया गैंगरेप एंड मर्डर केस में सीबीआई के हाथ ऐसा क्या लगा कि उसने आईजी समेत आठ पुलिसवाले गिरफ्तार कर लिए ?

ये खास सुराग उसी जेल से जुड़ा था जहां गैंगरेप के एक आरोपी की हत्या हो गई थी। आइए हम आपको बताते हैं पूरी कहानी गुड़िया मामले से जुड़े सूरज हत्याकांड में संतरी दिनेश शर्मा सबसे अहम कड़ी निकला।

यह संतरी उस लॉकअप के बाहर ड्यूटी पर तैनात था जहां गैंगरेप के आरोपी सूरज की हत्या हो गई थी।
शुरू में सीबीआई ने भी उस पर ज्यादा फोकस नहीं किया।

सूरज हत्याकांड में सस्पेंड होने के बाद उसने खुद को कमरे में बंद कर लिया था।

उसे डर था कि उसकी जान पर भी संकट आ सकता है।
वह जाए तो कहां? पुलिस खुद उसे फंसाने की जुगत में लगी थी।
उसे ये भी डर था कि कहीं पुलिस हत्या की सारी जिम्मेदारी उसके सिर न मढ़ दे। वह तनाव में चला गया था।

ऐसे में उसके परिजनों ने ‘अमर उजाला’ से संपर्क किया।
‘अमर उजाला’ ने संतरी की कहानी छापी तो सीबीआई सक्रिय हुई और नतीजा आज सामने है।
सीबीआई ने संतरी दिनेश शर्मा से घंटों पूछताछ की।
संतरी ने उस रात का सारा किस्सा सीबीआई को ज्यों का त्यों सुना दिया।

सूत्रों के अनुसार उसने सीबीआई को बताया कि उस रात कोटखाई थाने में उसकी तीन घंटे की नाइट ड्यूटी थी।
ड्यूटी रात नौ से बारह बजे तक थी। उसका काम लॉकअप पर नजर रखना था।
इसमें गुड़िया हत्याकांड के आरोपी राजू और सूरज नेपाली बंद थे।

संतरी ने बताया कि ड्यूटी शुरू होने के कुछ वक्त बाद ही थाना प्रभारी ने मुंशी से लॉकअप का दरवाजा खुलवाया और उसके सामने सूरज को कहीं ले गया।

राजू ने सूरज को लॉकअप में नहीं मारा, जबकि पुलिस ने अपने बयान में बताया कि संतरी के सामने ही राजू ने सूरज को मार डाला!
लॉकअप वक्त पर न खुलने के कारण पुलिसकर्मी सूरज को नहीं बचा पाए !

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