क्यों नहीं रुक रहा है पत्रकारों पर अत्याचार? मड़ियांव पुलिस विवादों के घेरे में !
रिपोर्टर.
उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के थाना मड़ियांव मैं एक बार फिर पुलिस वालों की गुंडई का मामला प्रकाश में आया है।
रात के अंधेरे में उठाते हैं किसी बेकसूर को और फिर गुड वर्क के चक्कर में ढाते हैं जुल्म।
यह कोई पहला मामला नहीं है थाना मड़ियांव का।
इससे पहले भी इस तरह के कई मामले संज्ञान में आ चुके हैं।
और उस पर तत्काल कार्रवाई भी की गई है लेकिन फिर भी थाना मड़ियांव में तैनात कर्मचारियों के बर्ताव में कोई फर्क नहीं नजर आता है ।
जहां एक तरफ एसएसपी कलानिधि नैथानी पुलिस को पब्लिक की मित्र बताती है वही मड़ियांव पुलिस मित्र तो दूर की बात बल्कि दबंग बनी उड़ा रही है धज्जियां@
प्राप्त जानकारी के अनुसार थाना मड़ियांव में गत रात लगभग 12:00 बजे थाने के बाहर कुछ महिलाएं व पुरूष के साथ थाने के कुछ सिपाही व महिला सिपाही बदसलूकी कर रहे थे ।
तभी वहां से गुजर रहे पत्रकार तथा आदर्श मीडिया एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष आदर्श शुक्ला ने देखा कि महिलाओं के साथ पुलिस वाले अभद्रता कर रहे हैं। गाली-गलौज भी करते नज़र आ रहे हैं ।
मौके पर पहुंचकर जब उन्होंने देखा कि महिलाओं को अश्लील गाली बकी जा रही है तो वह इस घटना की वीडियो बनाने लगे।
जैसे ही वीडियो बनाना शुरू किया वैसे ही थाना मड़ियांव की दबंग महिला सिपाही सोनू सोनू सिंह ने आव देखा ना ताव गुर्राते हुए अभद्र भाषा का प्रयोग कर पत्रकार के हाथ से मोबाइल भी छीन लिया और गाली गलौज करने लगी !
वहीं पकड़े गए अभियुक्त के परिवारजनों का कहना है कि उनका बेटा बेकसूर है ।
पुलिस उसे जबरन रात के अंधेरे में घर से उठा ले आई है।
जब परिवार वाले खाना देने गए तो उनके साथ अभद्रता करते हुए मार पीट कर थाने से बाहर निकाल दिया !
थाना मड़ियांव में तैनात पुलिस कर्मचारियों के हौसले इतने बुलंद हैं कि वह अपनी हरकतों से बाज नहीं आते हैं ।
और कहीं ना कहीं कोई ना कोई गलती पर गलतियां करते ही रहते हैं ।
पहले तो सिपाही ही पुरुषों के साथ अभद्रता व मारपीट करते थे, लेकिन अब तो महिला पुलिस कर्मियों के भी हौसले बुलंद हैं और वह पुरुषों से भिड़ने लगी है।
अब देखना दिलचस्प होगा कि क्या इन पुलिस कर्मियों के ऊपर एसएसपी कलानिधि नैथानी कोई कार्रवाई करते हैं या मामले को ठंडे बस्ते में डाल दिया जाता है !