पत्रकार अमन त्रिपाठी की आत्म हत्या है या हत्या?

उत्तर प्रदेश
संवाददाता

अमन त्रिपाठी ने आत्महत्या नही की है बल्कि उसकी हत्या की गई है।
यह बाँदा जिले के सीओ सिटी, एस एस पी का वीडियो है जो अमन त्रिपाठी मर्डर केस में अमन त्रिपाठी के परिवार को बाँदा कोतवाली में बुलाकर धमकाते हुए, जब हम साथ में कई लोग गए थे लेकिन सीओ सिटी राकेश कुमार सिंह ने किसी को भी अंदर नही जाने दिया । जबकि अमन त्रिपाठी की हत्या हुई है!
डॉ ने पैसा लेकर पोस्टमार्टम रिपोर्ट भी गलत बनाया है, बाँदा पुलिस प्रशासन ने पैसा लेकर 302 का मुकदमा नही लिखा यह अमन त्रिपाठी के माता पिता का आरोप हैं।
सत्ताधारी विधायाक की शह पर बाँदा पुलिस प्रशासन नाच रहा है ।
आखिर कब तक ऐसे हत्या होती रहेंगी? उत्तर प्रदेश पूरी तरह अपराध प्रदेश बन गया है ।
तो मैं भी आपको बताना चाहती हूं बांदा पुलिस अधीक्षक बांदा सीओ सिटी अमन त्रिपाठी के हत्यारों को सजा मिलेगी और सजा बांदा जिला की जनता बांदा जिला के पत्रकार दिला कर रहेंगे अपराधियों को बचा रहे हैं शर्म आनी चाहिए आपको।
अगर आपके बेटे के साथ ऐसी कोई घटना हो जाती तब आप क्या करते ?
आप किसी का दर्द नहीं समझ रहे हैं अमन त्रिपाठी के माता-पिता से हम वादा करते हैं कि टाइम चाहे जो लगे लेकिन अमन त्रिपाठी के हत्यारों को सजा मिलेगी। और बांदा जिला के पूरे पत्रकार मिलकर हम दिलाएंगे ।
हम भी देखते हैं कि बांदा पुलिस अधीक्षक बांदा सीओ सिटी राकेश कुमार सिंह बांदा एडिशनल एसपी कब तक हत्यारों को बचाएंगे और राकेश कुमार सिंह सुन लीजिए तुम्हारे उत्तर प्रदेश में कानून नहीं होगा।
लेकिन इस देश में कानून है, और यह देश हम सभी भारत वासियों का है। किसी पार्टी का देश नहीं है, किसी धर्म का देश नहीं है, यह देश सभी धर्मों का है इस देश में सभी धर्म की पूजा होती है संविधान को मानते हैं हम।
संविधान ही अमन त्रिपाठी के हत्यारों को सजा दिलाएगा कि किसी के बेटे की हत्या हो जाती है कोई सवाल नही करेगा क्या आपसे आपको सवालों का जवाब देना होगा ।
अगर सवालों का जवाब न हो आपके पास तो इस्तीफा दे दो नौकरी से ।
बांदा सीओ सिटी राकेश कुमार सिंह मैं फिर आपसे कह रही हूं कि महिलाओं से तमीज में बात किया करिए बात करना सीख लीजिए वरना इस बांदा जिला की महिलाएं तुम्हें तमीज में बात करना सिखा देंगी।
हमेशा महिलाओं का अपमान करते हो इतना सत्ता के नशे में वर्दी के घमंड में मत करिए।

टाइम आता है कि वर्दी और सत्ता कोई काम नहीं देता है,
बाँदा सीओ सिटी का बीपी हाई होता है जब कोई सवाल करता है!
हमेशा महिलाओं का अपमान करता है सीओ सिटी ।योगी जी के पास क्या कोई लगाम नहीं ही राकेश कुमार पर लगाम लगा अगर न लगाम हो तो बता दीजिय योगी जी बाँदा जिले की जनता हमेशा के लिए लगाम लगा देगी राकेश कुमार पर ।
मैं पूछना चाहती हूं बांदा जिला की जनता से आप ही बताइए कि अगर अमन त्रिपाठी आत्महत्या करता तो उसके गले में चैन थी, हाथ में रिंग थी,
उसकी बाइक 2 किलोमीटर दूर मिली है, उसका मोबाइल किसी लड़के के पास था। उसके कपड़े कहीं और मिले हैं। उसके चेहरे को आग से जलाया गया था।
बांदा जिला पुलिस प्रशासन बहरा है अंधा है उसको दिख नहीं रहा है जो है अमन त्रिपाठी को मार दिया गया है।
आखिर बांदा पुलिस प्रशासन क्यों बचा रहा है अमन त्रिपाठी के हत्यारों को?
कारण क्या है क्या सत्ता का दबाव है विधायक का दबाव है किसका दबाव है? मुझे लगता है कि दबाव देने वाले से ज्यादा दबाव सहने वाला अपराधी होता है।
शालिनी सिंह पटेल
सरदार सेना जिला अध्यक्ष बांदा
पत्रकार एवं समाज सेविका।

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